दिल्ली में हत्या कर मध्यप्रदेश में फरारी काट रहा आरोपी पुलिस से बचकर भागने की कोशिश में दो मंजिला इमारत से कूद गया। पत्थर पर गिरने से उसका सिर फूट गया। उसकी मौके पर ही मौत हो गई। पुलिस ने उसके दो अन्य साथियों को गिरफ्तार कर लिया है।

पुलिस ने बताया कि तीनों आरोपी खंडवा जिले के ओंकारेश्वर में छिपे हुए थे। यहां वे एक होटल में ठहरे हुए थे। गुरुवार शाम तीनों जिम में एक्सरसाइज करने पहुंचे, तभी दिल्ली पुलिस ने लोकल मांधाता पुलिस के साथ रेड की। आरोपियों में एक नाबालिग है। जब ओंकारेश्वर में इन आरोपियों की धरपकड़ चल रही थी, तो स्थानीय लोगों ने दिल्ली पुलिस के साथ मारपीट कर डाली। उन्हें लगा कि वे बदमाश हैं और किसी सज्जन को पकड़कर वारदात कर रहे हैं। गलतफहमी के चक्कर में एक पुलिसकर्मी को लोगों ने पीट दिया।

हत्या का आरोपी जिस जिम की दूसरी मंजिल से कूदा, उसके पास ही पुल है। पुलिस के मुताबिक, आरोपी ने पुल पर कूदने की कोशिश की, लेकिन छलांग लगाने के दौरान बैलेंस बिगड़ गया और वह पुल पर नहीं कूद पाया। सीधे 50 फीट नीचे पत्थरों पर गिरा।
मामला गुरुवार शाम 7 बजे का है। दिल्ली पुलिस की टीम मांधाता थाने के टीआई बलजीत सिंह के साथ पुराने पुल के पास ओंकारेश्वर मंदिर की तरफ पहुंची। दिल्ली में हत्या कर भागे आरोपी शाहदरा (दिल्ली) निवासी मोहित ठाकुर, अभिषेक ढकोलिया और 15 वर्षीय नाबालिग लड़के की लोकेशन ओंकारेश्वर में मिली थी। खुफिया पुलिस से सूचना मिली थी कि तीनों ओंकारेश्वर में पिछले एक सप्ताह से छिपे हैं।

पुलिस टीम सूचना पर पुराने पुल और मंदिर के आसपास की होटल में छानबीन कर रही थी, तभी आरोपी अभिषेक पुल के पास अग्रवाल की जिम से निकलते हुए दिखाई दिया। पुलिस ने घेराबंदी कर अभिषेक को दबोच लिया। जिम की दूसरी मंजिल पर खड़े मोहित और एक अन्य नाबालिग आरोपी ने पुलिस को देखा, तो वे भागने लगे। मोहित को लगा कि वह नीचे सीढ़ियों से निकलेगा तो पुलिस पकड़ लेगी, इसलिए उसने दूसरी मंजिल से ही छलांग लगा दी।

ब्रिज की रेलिंग से हाथ फिसला, तो पत्थर पर गिरा

मांधाता टीआई बलजीत सिंह बिसेन के अनुसार, दिल्ली पुलिस के अफसर और जवान हत्या के आरोपियों की तलाश में आए थे। एक आरोपी मोहित भागने की कोशिश में दो मंजिला इमारत के ऊपर से कूद गया। जिम और ब्रिज पास है। मोहित ने दूसरी मंजिल से ब्रिज पर कूदने का प्रयास किया। उसकी प्लानिंग तब फेल हो गई, जब छलांग लगाने के दौरान वह ब्रिज पर नहीं कूद पाया। सिर्फ रेलिंग उसके हाथ में आई। यही नहीं, उसके हाथ भी रेलिंग से फिसल गए और वह करीब 50 फीट नीचे पत्थरों पर गिरा। मोहित का सिर फूट गया और उसने मौके पर ही दम तोड़ दिया। तीसरा आरोपी अभिषेक भागने में कामयाब नहीं हुआ। नाबालिग आरोपी भागकर बस स्टैंड पहुंच गया था। बस के अंदर से उसे भी पुलिस ने पकड़ लिया।

तीर्थनगरी में आठ दिन से डेरा डालकर बैठे थे

बालिग और नाबालिगों की ये नई गैंग थी, जो दिल्ली में दहशत फैलाने का काम कर रही थी। पिछले एक सप्ताह से ये मंदिर के पास एक होटल में ठहरे हुए थे। अग्रवाल जिम के मालिक लाला अग्रवाल के पास वे मिलने भी पहुंचे थे। उन्होंने लाला से कहा कि वे यहां कुछ दिन रुकेंगे। जिम करना चाहते हैं। लाला ने इस बात से उन्हें मना कर दिया कि वे लोकल पब्लिक को ही परमिशन देते हैं।

सुरजीत, जिसकी नाबालिगों की गैंग ने हत्या की। सुरजीत परिवार के साथ झिलमिल में रहता था। वो इलेक्ट्रिशियन का काम करते था। –
500 रुपए के लेन-देन में गैंग ने की थी हत्या

मामला 26 जनवरी की रात का है। विवेक विहार के सूरजमल पार्क में 26 जनवरी की रात सुरजीत सिंह (22) की चाकू से गोदकर हत्या कर दी गई थी। चाकू मारने के दौरान दो राउंड हवा में गोलियां भी चलाई थीं। 6 आरोपियों के नाम सामने आए थे। तीन नाबालिग तो पकड़े गए थे, लेकिन मोहित, अभिषेक और एक नाबालिग आरोपी फरार थे। सभी आरोपी 15 से 19 साल के हैं।

दिल्ली पुलिस ने जिन तीन नाबालिगों को शुरुआत में पकड़ा था, उन्होंने पुलिस पूछताछ में बताया कि सुरजीत ने उनकी गैंग से हुक्का लिया था। बार-बार पैसे मांगने पर भी वह न तो हुक्का दे रहा था और न ही इसके 500 रुपए। इस बात से नाराज होकर नाबालिगों की गैंग ने सुरजीत पर हमला कर दिया था।

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