उज्जैन में एक नवविवाहिता की मौत के बाद उसके परिजनों ने फ्रीगंज ओवर ब्रिज पर शव को रखकर चक्का जाम कर दिया। मृतका के परिजनों का कहना था कि उनकी लड़की ने आत्महत्या नहीं की है बल्कि उसकी हत्या हुई है। पुलिस इस मामले में उनकी सुनवाई नहीं कर रही है इसीलिए उनके द्वारा यह चक्का जाम किया गया है।
सोमवार दोपहर 11:30 के करीब दमदमा सेठी नगर क्षेत्र के रहवासी बड़ी संख्या में फ्रीगंज ओवर ब्रिज पर जमा हो गए। बड़ी संख्या में महिलाओं के द्वारा यहां पहुंचकर पुल पर घेरा डाल कर जाम कर दिया गया। मृतका की मां ने कहा कि उनकी लड़की ने पड़ोस में ही रहने वाले कुलदीप नामक युवक से डाली का 6 माह पहले विवाह किया था।

परिजनों का आरोप है कि डाली 2 दिन से फांसी पर लटकी थी और उसके ससुराल वाले नीचे की मंजिल में रहकर आराम से खा पी रहे थे उन्होंने डाली की कोई सुध नहीं ली। जब घर में से बदबू आने लगी और आसपास के लोगों ने यह जानकारी हम तक पहुंचाई तो हम घर पहुंचे तो देखा कि हमारी लड़की फांसी पर लटकी हुई है इसकी शिकायत माधव नगर पुलिस की लेकिन पुलिस के द्वारा मामले को आत्महत्या का बताकर घटना के आरोपियों को बचाया जा रहा है।
पुलिस पर आरोपियों को बचाने का आरोप
परिजनों का आरोप है कि माधव नगर पुलिस मामले की ठीक से जांच नहीं कर रही है और आरोपियों को बचाने की कोशिश कर रही है। परिजनों ने मांग की है कि मामले की जांच की जाए और दोषियों को सजा दी जाए।
चक्का जाम से प्रभावित हुआ ट्रैफिक
न्याय के लिए नवविवाहिता के परिजनों ने देवास गेट थाने अंतर्गत फ्रीगंज ब्रिज पर चक्का जाम कर ट्रैफिक रोक दिया, जिससे ट्रैफिक प्रभावित हो गया। देवास गेट थाना प्रभारी अनिला पलासर और उनकी टीम ने मौके पर पहुंचकर बड़ी ही मुश्किलों के बाद जाम खुलवाया।
ट्रैफिक व्यवस्था सुधारने की जरूरत
उज्जैन में ट्रैफिक की समस्या एक बड़ी चुनौती है, खासकर सावन के महीने में महाकालेश्वर मंदिर की ओर जाने वाले मार्गों पर जाम लगने से राहगीरों और व्यापारियों को परेशानी होती है। शहर में आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ने से ट्रैफिक पर दबाव बढ़ जाता है। आम नागरिकों ने कहा कि प्रशासन को नए सिरे से रणनीति बनानी होगी ताकि चक्का जाम की समस्या से निपटा जा सके।