कासलीवाल की यात्रा वाकई धार्मिक या पटाया का सुख ले रहे अश्विन

उज्जैन लायन्स क्लब उज्जैन क्षिप्रा के नवनियुक्त अध्यक्ष अश्विन कासलीवाल फरारी का खूब आनंद ले रहे है। अध्यक्ष बनते ही सोशल मीडिया में अश्विन ने प्रचारित किया कि वे चारधाम यात्रा पर जा रहे है लेकिन अश्विन के खास सिपाहसालारों के अनुसार द्विअर्थी संवादानुसार चारधाम यात्रा वाकई में चारधाम यात्रा है या फिर वे चारधाम की बजाय सुरा सुंदरियों के बीच बैंकाक पटाया का सुख ले रहे है।

चारधाम तो बहाना है, 2000 के नोट चेंज कराना है

आर्थिक, दैहिक, भौतिक सुख से बड़ा कोई सुख भू माफियाओं के लिये क्या हो सकता है ? लेकिन अश्विन के पुलिस रिकार्ड में फरार रहते खुलेआम अश्विन द्वारा रेल मार्ग से यात्रा पर जाने के पीछे कई सवाल उठ रहे है। चारधाम तो नहीं परंतु मैं कल रात को स्वप्न में भू माफिया अश्विन की काली कमाई की कल्पना कर रहा था तभी अहसास हुआ कि शायद अश्विन कासलीवाल चारधाम यात्रा के बहाने 2000 के नोटों को चेंज करवाकर छोटे नोट कलेक्ट करने गया है। इसी कारण अश्विन ने फ्लाईट की बजाय जांच से बचने हेतु नोट चेंज कराने के लिये रेल को चुना।

वैसे भी हवाला कारोबारी वायुमार्ग की बजाय रेल मार्ग या लोक परिवहन को प्राथमिकता देते हुए हवाला के धन को अपनी सीट पर न रखकर बेनामी या अन्य सीट पर रखकर रूपयों की अफरा तफरी करते है। ऐसा लगता है।

मामला गंभीर लगता है और सपने में ये भी आया है कि प्रवर्तन निदेशालय
भी इस मामले में ध्यान दे सकता है।

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